8 कॉलोनाइजरों पर दर्ज हुआ तीन थानों में केस
माटी की महिमा न्यूज /उज्जैन
नगर निगम से बिना अनुमति और बिना लायसेंस के कृषि भूमि पर कॉलोनी काटने वाले कॉलोनाइजरों के खिलाफ नगर निगम उपयंत्री ने थाने पहुंचकर शिकायत दर्ज कराई है। पुलिस ने 8 कॉलोनाइजरों के खिलाफ मामला दर्ज करते हुए जांच में लिया है।
शहर में लगातार कॉलोनियों का निर्माण किया जा रहा है। कॉलोनाइजरों द्वारा मकान और प्लाट बेचे जा रहे हैं। इस मामले में नगर निगम द्वारा जांच शुरू की गई थी। जिसमें सामने आया कि कई क्षेत्रों में काटी गई कॉलोनियों की नगर निगम से अनुमति नहीं ली गई है। कॉलोनाइजरों के पास कॉलोनी निर्माण का लायसेंस भी नहीं है। जिसके चलते नगर पालिका निगम उपयंत्री राजेन्द्रसिंह पिता बृजमोहनसिंह रावत ने नागझिरी थाने पहुंचकर शासकीय स्कूल के पास हामूखेड़ी देवास रोड पर कॉलोनी काटने वाले अशोकनगर निवासी आशुतोष पिता मनमोहन शर्मा और विक्रम गांधी नगर क्षेत्र में कॉलोनी का निर्माण करने वाले गजेन्द्र पिता अमरसिंह के खिलाफ बिना अनुमति और बिना लायसेंस के कॉलोनी काटने की शिकायत दर्ज कराते हुए नगर पालिका अधिनियम 292 सी में प्रकरण दर्ज कराया। वहीं पंवासा थाना क्षेत्र के मारुति परिसर भूमि सर्वे क्रमांक 15/02 रकबा 1627 हेक्टेयर में वर्ष 2017 से 2019 के बीच कृषि भूमि पर अवैध रूप से कॉलोनी काटने वाले कचरूलाल पिता गोवर्धनलाल खरेतिया और उसके भाई राधाकिशन खरेतिया निवासी पंवासा के खिलाफ प्रकरण दर्ज कराया है। इसी तरह चिमनगंज थाना पुलिस ने एमआर-5 मार्ग सर्वे क्रमांक 1825/01 क्षेत्र में कॉलोनी का निर्माण करने वाले रुगनाथ पिता भेरूलाल माली और मोहम्मद नईम पिता इकबाल खान निवासी मिर्जावाड़ी के खिलाफ अवैध कॉलोनी निर्माण का प्रकरण दर्ज किया है। खिलचीपुर सर्वे क्रमांक 49 में वर्ष 2016 के दौरान राजाराम आंजना पिता रतनसिंह निवासी खिलचीपुर और पांड्याखेड़ी सर्वे क्रमांक 44/01/01 पर वर्ष 2018 में सावन पिता बाबूलाल कुमावत निवासी सांदीपनि नगर ने भी बिना नगर निगम की अनुमति और कॉलोनाइजर लायसेंस नहीं होने के बावजूद अवैध कॉलोनी का निर्माण कर दिया था।
इनके खिलाफ भी चिमनगंज थाना पुलिस ने नगर निगम अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया है। 8 कालोनाइजरों के खिलाफ दर्ज हुए मामले के बाद कॉलोनियों में मकान और प्लाट लेने वाले लोग संशय की स्थिति में नजर आ रहे हैं। जिन्हें कॉलोनाइजरों द्वारा वैध कॉलोनी बताकर मकान और प्लाट उपलब्ध कराए थे।